दीपावली, जिसे हम सभी प्यार से "दिवाली" कहते हैं, भारत का एक प्रमुख और सबसे प्रिय त्योहार है। यह त्योहार न केवल रोशनी और खुशियों का प्रतीक है, बल्कि यह हमारे संस्कृति, परंपरा और धार्मिक मान्यताओं का भी अनूठा संगम है। दीपावली का जश्न कई दिनों तक मनाया जाता है, जिसमें धनतेरस, छोटी दिवाली और मुख्य दिवाली शामिल हैं।
धनतेरस: धन और समृद्धि का पर्व
दीपावली की शुरुआत धनतेरस से होती है। इस दिन लोग भगवान धन्वंतरि की पूजा करते हैं, जो स्वास्थ्य और समृद्धि के देवता माने जाते हैं। इस दिन बर्तन, सोने-चांदी की वस्तुएं और आभूषण खरीदने की परंपरा है। मान्यता है कि धनतेरस पर खरीदी गई वस्तुएं पूरे वर्ष शुभ और समृद्धि लेकर आती हैं। लोग अपने घरों को सजाते हैं और नए सामान खरीदकर समृद्धि का स्वागत करते हैं।
छोटी दिवाली: आस्था और उमंग का दिन
धनतेरस के बाद, छोटी दिवाली आती है, जिसे 'नरक चतुर्दशी' भी कहा जाता है। इस दिन लोग अपने घरों की सफाई करते हैं और नए वस्त्र पहनकर रावण के पुतले का दहन करते हैं। रात को दीप जलाकर और पटाखे फोड़कर खुशियां मनाई जाती हैं। छोटी दिवाली पर लक्ष्मी माता की पूजा भी की जाती है, जिससे घर में सुख-समृद्धि का आगमन हो।
मुख्य दिवाली: प्रकाश का महापर्व
दीपावली का मुख्य दिन लक्ष्मी पूजा का होता है। इस दिन, घरों को दीपों से सजाया जाता है और देवी लक्ष्मी का स्वागत किया जाता है। लोग अपने रिश्तेदारों और दोस्तों को मिठाई, उपहार और शुभकामनाएं देते हैं। पटाखों की गूंज और दीयों की रोशनी से चारों ओर उल्लास और आनंद छा जाता है। दिवाली का यह जश्न हमें एकजुट होने, प्रेम और भाईचारे को बढ़ावा देने का संदेश देता है।
दीपावली का त्योहार सिर्फ एक धार्मिक पर्व नहीं है, बल्कि यह हमारी संस्कृति और एकता का प्रतीक है। यह हमें जीवन में सकारात्मकता, समृद्धि और खुशियों की प्रेरणा देता है। जब हम धनतेरस से लेकर मुख्य दिवाली तक इस उत्सव का आनंद लेते हैं, तो हम अपने परिवार, मित्रों और समाज के साथ मिलकर जीवन के खुशियों को साझा करते हैं। इस दिवाली, आइए हम सब मिलकर एक दूसरे के जीवन में प्रकाश फैलाने का प्रयास करें!
The News Grit की तरफ से दिवाली की हार्दिक शुभकामनाएं!!!
- The News Grit, 29/10/2024
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