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गिग (डिलेवरी वर्कर्स) और प्‍लेटफॉर्म वर्कर्स (ऑनलाइन सर्विस प्रोवाइडर्स) के लिए सरकारी सुरक्षा चक्र की शुरुआत!!!!

नए बजट की घोषणा: नीतियों और प्राथमिकताओं की झलक!!!

1 फरवरी 2025 को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने केंद्रीय बजट प्रस्तुत किया, यह उनका लगातार 8वां अवसर है जब उन्होंने बजट प्रस्तुत किया। जिसमें अलग-अलग टैक्स स्लैब्स में परिवर्तन और आम जनता के लिए कई राहत योजनाओं की घोषणा की गई। इस बार के बजट में खासकर मिडिल क्लास और आम जनता का ध्यान रखते हुए कई महत्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं। महत्वपूर्ण यह है कि यह बजट भी पहले की तरह पेपरलेस रहा, जिसमें वित्त मंत्री संसद भवन में ब्रीफकेस के बजाय एक डिजिटल टैबलेट के माध्यम से बजट पेश कर रही थीं। 

Primary Source :- India Today

टैक्स स्लैब में बदलाव:

इस बजट में सबसे महत्वपूर्ण घोषणा नया टैक्स स्लैब था। वित्त मंत्री ने बताया कि अब 12 लाख रुपये तक की वार्षिक आय पर कोई टैक्स नहीं लगाया जाएगा। पहले 7 लाख रुपये तक की आय पर टैक्स में छूट दी जाती थी। इस बदलाव का मकसद मध्यवर्गीय परिवारों को आर्थिक राहत देना है, जो महंगाई और अन्य वित्तीय चुनौतियों का सामना कर रहे हैं।

नए टैक्स स्लैब के तहत, आयकर की दरों में भी बदलाव किए गए हैं:

12 लाख रुपये तक की आय: अब इस सीमा तक कोई टैक्स नहीं लगेगा।

8 से 12 लाख रुपये तक की आय: इस श्रेणी पर 10% आयकर लगेगा।

15 से 20 लाख रुपये तक की आय: इस आय सीमा पर 20% टैक्स लगेगा।

24 लाख रुपये तक की आय: इस श्रेणी में 30% का आयकर लागू होगा।

पेपरलेस बजट:

इस बजट का एक और महत्वपूर्ण पहलू यह था कि यह पूरी तरह से पेपरलेस था। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ब्रीफकेस की बजाय एक टैबलेट के माध्यम से बजट पेश कर रही थीं। इससे यह संकेत मिलता है कि सरकार डिजिटल इंडिया के दिशा में लगातार कदम बढ़ा रही है और पारदर्शिता को बढ़ावा दे रही है।

1. इंफ्रास्ट्रक्चर (Infrastructure):

इंफ्रास्ट्रक्चर क्षेत्र को प्रमुखता देते हुए इस बजट में लगभग करीब  1.5 लाख करोड़ रुपये का आवंटन किया गया है। इसमें सड़क, रेलवे, और हवाईअड्डों के निर्माण और उन्नति पर विशेष ध्यान दिया गया है।

2. कृषि और ग्रामीण विकास (Agriculture and Rural Development):

कृषि क्षेत्र को भी इस बजट में एक बड़ा हिस्सा दिया गया है, जिसमें किसानों के लिए कृषि से जुड़े विभिन्न कार्यक्रमों में खर्च की योजना है।  1,71,437 करोड़ रुपये कृषि और ग्रामीण विकास पर खर्च किए जाएंगे, जिसमें सिंचाई योजनाएं, मृदा स्वास्थ्य, और कृषि उपकरणों की सुलभता बढ़ाने के उपाय शामिल हैं।

3. स्वास्थ्य (Healthcare):

स्वास्थ्य क्षेत्र में भी सुधार के लिए इस बजट में  98,311 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं। इसमें अस्पतालों और स्वास्थ्य सेवाओं का विस्तार, विशेष रूप से ग्रामीण और पिछड़े इलाकों में, शामिल है।

4. शिक्षा (Education):

शिक्षा इस बजट में शिक्षा क्षेत्र के लिए कुल 1,28,650 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है, जो पिछले वित्तीय वर्ष की तुलना में 6.65% अधिक है।

5. रोजगार और सामाजिक सुरक्षा (Employment and Social Security):

रोजगार सृजन और सामाजिक सुरक्षा योजनाओं के लिए स्वरोजगार, कौशल विकास, और बेरोजगारी की समस्या को हल करने के लिए पहल की जाएगी।

6. सुरक्षा (Defense):

रक्षा क्षेत्र के लिए 4,91,732 लाख करोड़ रुपये का बजट आवंटित किया गया है। इसमें सेना की आधुनिकीकरण, उपकरणों की खरीद, और सुरक्षा बलों के लिए प्रौद्योगिकी में सुधार पर जोर दिया जाएगा।

7. ऊर्जा क्षेत्र (Energy Sector):

ऊर्जा क्षेत्र में 81,174 करोड़ रुपये का बजट रखा गया है, जिसमें नवीकरणीय ऊर्जा, इलेक्ट्रिक वाहनों, और ऊर्जा संक्रमण पर ध्यान दिया गया है।

निष्कर्ष:
2025 का केंद्रीय बजट भारत की आर्थिक प्रगति को तेज करने, सामाजिक विकास को प्रोत्साहित करने और विभिन्न क्षेत्रों में सुधार पर केंद्रित किया गया है। इस बजट माध्यम वर्ग और गरीबों के लिए कर में छूट, रोजगार के अवसर, आधारभूत ढांचे का विकास, कृषि सुधार और डिजिटल इंडिया जैसी योजनाएं शामिल हैं। सरकार ने बुनियादी ढांचे में बड़ा निवेश किया है जिससे आर्थिक गतिविधियों को बढ़ावा मिलेगा और रोजगार के अवसर उत्पन्न होंगे। कृषि क्षेत्र में भी किसानों को सहायता देने के लिए कई योजनाएं बनाई गई हैं। स्वास्थ्य और शिक्षा पर विशेष ध्यान दिया गया है ताकि सभी नागरिकों को बेहतर सेवाएं उपलब्ध हो सकें। इसके अलावा, महिला सशक्तिकरण, डिजिटल प्रगति, और पर्यावरण की सुरक्षा के लिए भी बजट में प्रावधान किए गए हैं। सामाजिक न्याय और समान अवसरों को बढ़ावा देने के लिए भी प्रयास किए गए हैं।

हालांकि, बजट में कुछ ऐसे क्षेत्रों की जरूरत भी हो सकती है, जहां ध्यान देने की आवश्यकता थी, जैसे नौकरी सृजन के प्रभावी उपाय। फिर भी 2025 का यह बजट देश की प्रगतिसुधार और सामाजिक भलाई की दिशा में एक ठोस कदम है जो भविष्य में अच्छे परिणाम लाने की उम्मीद करता है और देश को आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर और समृद्ध बनाने के लिए आगे बढ़ाएगा।

By- Sourabh Yohan, The Nes Grit, 01/02/2025


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