Skip to main content

पर्यटन में मध्यप्रदेश की नई उड़ान: 2024 में 13 करोड़ से अधिक पर्यटक पहुंचे!!

खंडवा में महिला के साथ क्रूर अत्याचार की घटना!!!!

मध्यप्रदेश के खंडवा ज़िले से हाल ही में सामने आई एक बेहद दर्दनाक और क्रूर घटना ने पूरे समाज की आत्मा को झकझोर कर रख दिया है। यह सिर्फ एक आपराधिक वारदात नहीं है, बल्कि हमारे सभ्य कहे जाने वाले समाज के भीतर छुपी बर्बरता का नग्न रूप है। 45 वर्षीय एक आदिवासी महिला के साथ सामूहिक दुष्कर्म के बाद जिस अमानवीयता से उसकी देह को क्षत-विक्षत किया गया, वह न केवल हमारे कानून तंत्र बल्कि सामाजिक नैतिकता की भी खुली विफलता है।

घटना का वर्णन: निर्भया की भयावह पुनरावृत्ति?

दिनांक 23 मई 2025 की रात खंडवा के इतवा गांव में यह वीभत्स घटना घटित हुई। पीड़िता अपने गाँव के पास ही एक विवाह समारोह से लौट रही थी, जब दो पड़ोसी युवक - हरि (40) और सुनील (35), जो उसी कोरकू आदिवासी समुदाय से हैं - उसे बहलाकर हरि के घर ले गए। वहाँ दोनों ने उसके साथ न केवल दुष्कर्म किया, बल्कि उसे ऐसी शारीरिक और मानसिक पीड़ा दी जो किसी अत्यंत क्रूर कांड से कम नहीं।

पुलिस की प्रारंभिक रिपोर्ट और आरोपियों से पूछताछ में जो तथ्य सामने आए, वे दिल दहला देने वाले हैं। आरोप है कि हरि ने यौन अत्याचार की सीमा पार करते हुए महिला के private part में अपना हाथ डाल दिया, जिससे उसकी आँतें बाहर आ गईं। अत्यधिक रक्तस्राव के कारण महिला की वहीं मृत्यु हो गई। घटनास्थल से कोई लोहे या लकड़ी की छड़ बरामद नहीं हुई है, लेकिन खून से लथपथ चारपाई और बिस्तर को जब्त करने के लिए पुलिस आरोपियों की रिमांड पर कार्य कर रही है।

नारी अस्मिता को झकझोरती यह बर्बरता

इस क्रूरता की भयावहता इतनी तीव्र थी कि पोस्टमार्टम करने वाले चिकित्सक भी स्तब्ध रह गए। महिला की 16 वर्षीय पुत्री जब अपनी माँ की यह हालत देखी तो वह बेहोश हो गई - यह दृश्य एक संवेदनशील मनुष्य के लिए मात्र दृश्य नहीं, एक असहनीय मानसिक प्रहार है। यह सवाल खड़ा करता है - क्या हम अब भी संवेदनशील समाज कहलाने लायक हैं?

इस घटना ने सियासी गलियारों में भी हलचल मचा दी है। कांग्रेस के आदिवासी नेता विक्रांत भूरिया ने इस हृदयविदारक अपराध को “आदिवासी निर्भया” की संज्ञा दी है। उनका आरोप है कि जब से मुख्यमंत्री मोहन यादव ने गृहमंत्री का पद भी स्वयं संभाला है, राज्य में दुष्कर्म के मामलों में 18% की वृद्धि हुई है। उन्होंने यह भी कहा कि कुल दुष्कर्म पीड़िताओं में से 26% आदिवासी समुदाय से हैं, जो यह दर्शाता है कि राज्य में यह वर्ग सबसे अधिक असुरक्षित है।

खंडवा में दोहराया गया निर्भया जैसा अत्याचार

खंडवा ज़िले में हुई इस वीभत्स घटना ने देश को एक बार फिर 2012 के दिल्ली निर्भया कांड की याद दिला दी है। जिस प्रकार उस समय पूरा देश स्तब्ध और आक्रोशित हुआ था, वैसा ही आंतरिक आघात इस बार भी महसूस किया जा रहा है। पीड़िता और आरोपी दोनों ही कोरकू आदिवासी समुदाय से थे, और यह वारदात ज़िला मुख्यालय से लगभग 90 किलोमीटर दूर रोशनी पुलिस चौकी क्षेत्र में घटी। अत्यधिक खून बहने के कारण महिला की मौत हो गई। कांग्रेस सहित विभिन्न विपक्षी नेताओं ने इस मामले को मानवता पर धब्बा करार दिया है। पूर्व सांसद मीनाक्षी नटराजन सहित कई नेताओं ने इसे "आदिवासी निर्भया" की संज्ञा देते हुए सरकार की चुप्पी पर सवाल उठाए हैं।

केवल गिरफ्तारी नहीं, व्यापक उत्तरदायित्व की माँग

हालांकि दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है और उनके विरुद्ध भारतीय न्याय संहिता की धारा 66 (मौत का कारण), 70(1) (सामूहिक दुष्कर्म) और 103(1) (हत्या की सजा) के तहत मामला दर्ज किया गया है, परंतु क्या यह पर्याप्त है?

जब तक इस घटना के पीछे छिपे सामाजिक और संस्थागत कारणों पर कठोर विमर्श नहीं होता, जब तक आदिवासी क्षेत्रों में सुरक्षा और जागरूकता सुनिश्चित नहीं की जाती, और जब तक राज्य सरकार ऐसे मामलों को सर्वोच्च प्राथमिकता पर नहीं लेती - तब तक 'खंडवा की निर्भया' केवल एक आँकड़ा बनकर रह जाएगी। यह समय है आत्मचिंतन का, कार्यवाही का, और संकल्प का - कि इस देश में किसी भी वर्ग, किसी भी महिला के साथ ऐसी क्रूरता दोहराई न जा सके।

खंडवा की इस दर्दनाक घटना ने एक बार फिर यह स्पष्ट कर दिया है कि जब तक समाज सामूहिक रूप से अन्याय और अत्याचार के ख़िलाफ़ खड़ा नहीं होता, तब तक ऐसी वीभत्स घटनाएं दोहराई जाती रहेंगी। यह केवल एक महिला पर हमला नहीं, बल्कि पूरे मानव समाज की चेतना पर प्रहार है। हमें जाति, वर्ग, या समुदाय की सीमाओं से ऊपर उठकर ऐसी घटनाओं के प्रति संवेदनशील और सक्रिय होना होगा। पीड़िता की चुप्पी न दोहराई जाए - इसके लिए ज़रूरी है कि हर नागरिक अन्याय के विरुद्ध आवाज़ उठाए, पीड़ितों को न्याय दिलाने के लिए सिस्टम से अ‍पील की जाए और समाज में महिलाओं की गरिमा और सुरक्षा को लेकर एक सशक्त जनमत तैयार करे। यही हमारी असली नागरिक चेतना और जिम्मेदारी है।

The News Grit, 29/05/2025

Comments

Popular posts from this blog

"युवा उत्सव: रानी अवंती बाई लोधी विश्वविद्यालय में छात्रों का शानदार प्रदर्शन"!!!

     रानी अवंती बाई लोधी विश्वविद्यालय, सागर में 25/10/2024 को युवा उत्सव का समापन हुआ, जिसमें कई छात्र-छात्राओं ने अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन किया। इस उत्सव के दौरान, गीत गायन, रंगोली, कविता गायन जैसी कई प्रतियोगिताएं आयोजित की गईं, जहां छात्रों ने अपनी कलात्मकता का परिचय दिया।      इस अवसर पर, विश्वविद्यालय के प्रबंधन ने छात्रों को प्रोत्साहन देने के लिए व्यक्तिगत और सामूहिक रूप से पुरस्कार प्रदान किए। प्रतियोगिताओं में शामिल छात्रों ने अपने हुनर से सभी को प्रभावित किया, जिससे उनकी मेहनत और लगन का पता चला।      युवा उत्सव का मुख्य उद्देश्य छात्रों को उनकी प्रतिभा दिखाने का मौका देना था, जिससे उनका मनोबल बढ़े और वे आगे चलकर अपने सपने पूरे कर सकें। इस उत्सव ने सभी को एक साथ मिलकर मनोहारी पल बिताने का अवसर प्रदान किया और कैम्पस में एक उत्सव जैसा माहौल बना दिया।      समापन समारोह में मुख्य अतिथि ने छात्रों की कल्पना और सृजनशीलता की प्रशंसा की और उन्हें आगे बढ़ने के लिए प्रेरित किया। उत्सव की सफलता के लिए विश्वविद्यालय की समस्त टीम ...

राष्ट्रीय गणित दिवस के उपलक्ष्य में रानी दुर्गावती महाविद्यालय में आयोजित होगा भव्य कार्यक्रम!!

बालाघाट – रानी दुर्गावती शासकीय महाविद्यालय परसवाड़ा में इस वर्ष राष्ट्रीय गणित दिवस (22 दिसंबर) के उपलक्ष्य में एक महत्वपूर्ण कार्यक्रम का आयोजन किया जाएगा। यह कार्यक्रम मध्यप्रदेश विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी परिषद् (MPCST) और राष्ट्रीय विज्ञान संचार एवं प्रौद्योगिकी परिषद् (NCSTC) द्वारा प्रायोजित किया गया है। श्रीनिवास रामानुजन की जयंती पर उनके गणित के क्षेत्र में किए गए अद्वितीय योगदानों को समर्पित यह आयोजन 19 और 20 दिसंबर को होगा। प्राचार्य डॉ. एल एल घोरमारे ने कार्यक्रम की रूपरेखा साझा करते हुए बताया कि 19 दिसंबर को गणित के क्षेत्र में श्रीनिवास रामानुजन के योगदानों पर आधारित कई गतिविधियाँ आयोजित की जाएंगी। इनमें पोस्टर प्रेजेंटेशन, प्रश्नमंच, और भाषण प्रतियोगिता शामिल हैं। इन गतिविधियों के माध्यम से विद्यार्थियों को गणित की महत्ता और श्रीनिवास रामानुजन की खोजों के बारे में जानकारी मिलेगी। 20 दिसंबर को मुख्य कार्यक्रम में गणितज्ञ श्रीनिवास रामानुजन के जीवन इतिहास और उनके योगदान पर एक विशिष्ट अतिथि द्वारा व्याख्यान दिया जाएगा। इसके अलावा, उनके जीवन और कार्यों पर आधारित एक वृत्...

स्टूडेंट एक्सचेंज प्रोग्राम: रानी दुर्गावती महाविद्यालय परसवाड़ा में सफल आयोजन!!

दिनांक 20 जनवरी 2025 को रानी दुर्गावती शासकीय महाविद्यालय, परसवाड़ा के वनस्पति विभाग द्वारा एक उल्लेखनीय स्टूडेंट एक्सचेंज कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम में शासकीय अरण्य भारतीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय, बैहर के 35 विद्यार्थी और प्राध्यापकगण शामिल हुए। इस कार्यक्रम की शुरुआत महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ. एल. एल. घोरमारे द्वारा स्टूडेंट एक्सचेंज गतिविधियों के महत्व पर जानकारी देने से हुई। आइक्यूएसी इंचार्ज डॉ. अरुण वैद्य ने विद्यार्थियों को इस प्रकार के कार्यक्रमों से मिलने वाले लाभों को साझा किया। वनस्पति विभाग की प्रमुख डॉ. जय श्री सूर्यवंशी ने माइक्रोऑर्गेनिज़्म कल्चर और प्रयोगशाला उपकरणों की विस्तृत जानकारी प्रदान की। इसी क्रम में बैहर महाविद्यालय की डॉ. पूजा गुप्ता ने क्यूआर कोड इंटर्नशिप प्रोजेक्ट के माध्यम से छात्रों को नई तकनीकों से अवगत कराया। भौतिक शास्त्र विभाग से श्रीमती रंजना कुशवाहा ने शैक्षणिक गतिविधियों के विकास में इस प्रकार के कार्यक्रमों की महत्ता पर प्रकाश डाला। कार्यक्रम में छात्रों के बीच आपसी ज्ञान-विनिमय के साथ-साथ डेमोंस्ट्रेशन सत्र आयोजित किए गए। रा...