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पर्यटन में मध्यप्रदेश की नई उड़ान: 2024 में 13 करोड़ से अधिक पर्यटक पहुंचे!!

इंदौर में मेट्रो की सवारी - स्वच्छता के बाद सुविधा की बारी!!!!

भारत का सबसे स्वच्छ शहर इंदौर अब एक नए युग में प्रवेश कर चुका है। यह शहर सिर्फ सफाई, अनुशासन और नागरिक सहभागिता के लिए नहीं, बल्कि आधुनिक शहरी विकास और स्मार्ट इंफ्रास्ट्रक्चर के क्षेत्र में भी देश का नेतृत्व करने लगा है। अब इंदौर एक और ऐतिहासिक उपलब्धि हासिल कर ली है -  मेट्रो रेल सेवा की शुरुआत। 31 मई 2025 को प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी भोपाल से वर्चुअली इंदौर मेट्रो के सुपर प्रायोरिटी कॉरिडोर पर यात्री सेवा का शुभारंभ किया। यह दिन न केवल इंदौर के लिए, बल्कि पूरे मध्यप्रदेश के लिए गौरव का क्षण रहा।

क्या है सुपर प्रायोरिटी कॉरिडोर?

इंदौर मेट्रो का सुपर प्रायोरिटी कॉरिडोर लगभग 6 किलोमीटर लंबा है और यह येलो लाइन का एक अत्यंत महत्त्वपूर्ण हिस्सा है। यह कॉरिडोर शहर के सबसे तेजी से विकसित हो रहे क्षेत्र - सुपर कॉरिडोर - में बनाया गया है, जो कि शहरी विस्तार और औद्योगिक गतिविधियों का केंद्र बनता जा रहा है। इस कॉरिडोर से मेट्रो सेवा की शुरुआत होने से शहर के लाखों नागरिकों को एक तेज़, सुगम और विश्वसनीय यात्रा सुविधा मिलेगी।

इस कॉरिडोर में कुल 5 स्टेशन शामिल हैं:

1.     गांधीनगर स्टेशन

2.    सुपर कॉरिडोर 6 स्टेशन

3.    सुपर कॉरिडोर 5 स्टेशन

4.    सुपर कॉरिडोर 4 स्टेशन

5.    सुपर कॉरिडोर 3 स्टेशन

इस मार्ग के माध्यम से शहर के ट्रैफिक दबाव में कमी आएगी, यात्रियों को सड़क जाम से राहत मिलेगी, और वायु प्रदूषण के स्तर में भी गिरावट दर्ज़ होगी। यह कॉरिडोर इंदौर की आधुनिकता और स्मार्ट सिटी मिशन की दिशा में उठाया गया एक सशक्त कदम है।

इंदौर मेट्रो प्रोजेक्ट – एक विस्तृत दृष्टिकोण

पूरे इंदौर मेट्रो प्रोजेक्ट की कुल लंबाई 31.32 किलोमीटर है, जिसे दो प्रमुख हिस्सों में विभाजित किया गया है:

·         22.62 किलोमीटर एलेवेटेड मेट्रो (उच्च स्तरीय)

·         8.7 किलोमीटर भूमिगत मेट्रो

इस परियोजना के तहत कुल 28 स्टेशन प्रस्तावित हैं, जो इंदौर शहर के विभिन्न क्षेत्रों को आपस में जोड़ेंगे और एक तीव्र, सुरक्षित एवं पर्यावरण के अनुकूल यात्रा अनुभव प्रदान करेंगे। इस मेट्रो सेवा से इंदौरवासियों को ट्रैफिक की समस्या से काफी हद तक मुक्ति मिलेगी, साथ ही यह शहर के शहरी ढांचे को नई ऊंचाई देगी।

·         पूरे प्रोजेक्ट की अनुमानित लागत: ₹7,500 करोड़

·         6 किलोमीटर के पहले चरण की लागत: ₹1,520 करोड़

                                                                                                                                   मेट्रो का महत्व – पर्यावरण और जीवनशैली पर प्रभाव

इंदौर मेट्रो केवल एक ट्रांसपोर्ट प्रोजेक्ट नहीं, बल्कि यह एक हरित और सतत विकास मॉडल का प्रतीक है। यह परियोजना कई सामाजिक और पर्यावरणीय लाभों को लेकर आएगी, जैसे:

·         शहर के सड़कों पर वाहनों का दबाव घटेगा, जिससे ट्रैफिक जाम में कमी आएगी।

·         पेट्रोल और डीजल जैसे जीवाश्म ईंधनों पर निर्भरता कम होगी।

·         वायु और ध्वनि प्रदूषण में गिरावट आएगी, जिससे शहरी वातावरण अधिक स्वस्थ बनेगा।

·         सार्वजनिक परिवहन को बढ़ावा मिलेगा, जिससे आमजन में यातायात के प्रति जागरूकता और अनुशासन भी बढ़ेगा।

इंदौर मेट्रो की प्रमुख विशेषताएँ

इंदौर मेट्रो परियोजना को अत्याधुनिक तकनीकों से सुसज्जित किया गया है ताकि यात्रियों को विश्वस्तरीय अनुभव मिल सके:

आधुनिक ढांचा

·         वातानुकूलित और प्रदूषण रहित आधुनिक कोच, जिनमें आरामदायक यात्रा अनुभव सुनिश्चित किया गया है।

·         एक ट्रेन की यात्री क्षमता लगभग 980 यात्रियों तक है।

·         सभी स्टेशनों पर लिफ्ट और एस्केलेटर की सुविधा उपलब्ध है।

समावेशी और सुरक्षित यात्रा

·         दिव्यांगजनों के लिए ब्रेल लिपि और स्पर्शनीय टाइलें उपलब्ध हैं, जिससे वे स्वतंत्र रूप से यात्रा कर सकें।

·         दृष्टिहीन यात्रियों के लिए ऑडियो अनाउंसमेंट प्रणाली से उन्हें जानकारी मिलेगी।

·         व्हीलचेयर, बैठने की व्यवस्था, स्वच्छ शौचालय और पीने का पानी हर स्टेशन पर उपलब्ध होगा।

 सुरक्षा और निगरानी

·         हर स्टेशन और डिपो में CCTV कैमरे लगाए गए हैं, जो 24x7 निगरानी रखेंगे।

·         अग्निशमन उपकरण, आपातकालीन बटन और इंटरकॉम की व्यवस्था की गई है ताकि आपात स्थिति में तुरंत सहायता मिल सके।

·         एक सेंट्रल कंट्रोल सिस्टम से पूरे नेटवर्क की निगरानी और संचालन किया जाएगा।

इंदौर की विकास यात्रा में मेट्रो की भूमिका

इंदौर मेट्रो परियोजना केवल एक आधारभूत ढांचा नहीं, बल्कि यह शहर की सांस्कृतिक, आर्थिक और सामाजिक प्रगति का प्रतिबिंब है। यह विकास यात्रा कई स्तरों पर शहर को प्रभावित करेगी:

·         औद्योगिक क्षेत्रों और शैक्षणिक संस्थानों को आपस में जोड़कर कार्य और शिक्षा को सुगम बनाएगी।

·         रियल एस्टेट, व्यापार और सेवाक्षेत्र में तेजी से विकास होगा।

·         नागरिकों की स्वास्थ्य, सुविधा और जीवनशैली में सुधार आएगा।

इंदौर मेट्रो – भविष्य की दिशा

इंदौर मेट्रो सिर्फ एक नया ट्रांसपोर्ट सिस्टम नहीं है, यह इंदौरवासियों के सपनों, उम्मीदों और भविष्य की दिशा में एक सशक्त पहल है। जैसे-जैसे यह परियोजना आगे बढ़ेगी, इंदौर एक स्मार्ट, हरित, सुरक्षित और सुविधाजनक शहर के रूप में देश-दुनिया में अपनी पहचान और मजबूत करेगा। 

The News Grit, 31/05/2025

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